Friday, January 24, 2020

घर पर पिच, विराट का सपॉर्ट.. ये है ट्रिपल सेंचुरी का राज January 24, 2020 at 04:39PM

नई दिल्लीघरेलू क्रिकेट में वीरेंदर सहवाग जैसी तूफानी बैटिंग देखने को मिली है और उसकी खूब चर्चा भी हो रही है। हो भी क्यों नहीं... 250 या 300 रन के करीब पहुंचने पर जहां दिग्गज बल्लेबाज मनोवैज्ञानिक दबाव में आ जाते हैं और दो-चार रन के लिए ढेरों गेंद खेल जाते हैं तो युवा सनसनी ने छक्के लगाकर एक झटके में इन दोनों आंकड़े को पार किया। यह इसलिए भी खास है, क्योंकि सरफराज पहले मुंबई के लिए खेलते थे और फिर यूपी चले गए। लेकिन, वह बार फिर मुंबई टीम में लौटे और एक वर्ष की कूलिंग पीरियड झेलने के बाद दमदार वापसी की। इतने उतार-चढ़ाव के बाद कोई भी खिलाड़ी टूट जाता है, लेकिन 22 वर्षीय सरफराज ने हार नहीं मानी। इस बल्लेबाज ने न केवल मुंबई क्रिकेट असोसिएशन (MCA) के विश्वास को जीता, बल्कि महत्वपूर्ण मौके पर 391 गेंद में 30 चौके और आठ छक्के जड़ते हुए नाबाद 301 रन की पारी खेलकर साबित किया कि उनमें वही कूवत बरकरार है, जिसके कायल कभी विराट कोहली तक हो गए थे। खैर, यह तो रही उपलब्धि। अब बात करते हैं यहां तक पहुंचने के पीछे संघर्ष के बारे में, जो सरफराज के लिए कतई आसान नहीं रहा। मिशन कमबैक: घर पर बनवाई पिच, घंटों करते थे अभ्यास नवभारत टाइम्स ऑनलाइन से खास बातचीत में सरफराज के पिता नौशाद ने बताया, 'जब यूपी टीम से वापस लौटे तो एक वर्ष का कूलिंग पीरियड (टीम बदलने के बाद का समय) झेलना था और साथ ही हूनर भी नहीं खोना था। ऐसे में हमने फैसला किया कि सरफराज घर के पास ही कहीं प्रैक्टिस करेगा, लेकिन कहां यह तय नहीं था। फिर हमने घर के पास ही नेट प्रैक्टिस के लिए पिच बनवाई और फिर शुरू हुआ 'मिशन कमबैक'। इसी पिच पर एक वर्ष तक सरफराज ने खूब पसीने बहाए। एक वर्ष में हमने उन कमियों पर फोकस किया, जिससे सफराज परेशान होता था या वापसी के बाद हो सकता था।' पढ़ें- टेस्ट, वनडे और टी-20 सभी के लिए स्ट्रैट्जी वापसी के बाद सरफराज क्रिकेट के सभी प्रारूपों (टेस्ट, वनडे और टी-20) में फिट बैठे इसके लिए भी स्ट्रैट्जी अपनाई गई। इस बारे में उनके पिता ने बताया, 'कूलिंग पीरियड का समय लंबा था और टेस्ट, वनडे और टी-20 तीनों के लिए हमें तैयारी करनी थी तो वैसी ही स्ट्रैट्जी तैयार की गई। दरअसल, टेस्ट (खासतौर पर रणजी ट्रोफी) में बड़ी पारी खेली होती है, इसलिए हमने उन गेंदों को छोड़ने की प्रैक्टिस की, जिससे स्लीप, सिली पॉइंट या गली में कैच होने की संभावना होती है। वहीं, टी-20 और वनडे में आक्रामक बैटिंग होती है तो सरफराज ने उसके लिए बड़े शॉट्स लगाने का अभ्यास किया। इसका फायदा भी हुआ। नाबाद 301 रन की पारी को आप देख सकते हैं। उसमें क्लासिकल शॉट्स थे तो ऊंचे-ऊंचे छक्के भी थे, जबकि उसकी तबीयत ठीक नहीं थी।' यूपी जाना बड़ी गलती थी... मुंबई को शुक्रियाखुद भी क्रिकेट के शौकीन रहे नौशाद का मानना है कि यूपी टीम के लिए खेलने का फैसला गलत रहा। उन्होंने कहा, 'देखिए, शुक्ला जी (राजीव शुक्ला) अच्छे इंसान हैं। वह चाहते थे कि सरफराज यूपी टीम से खेलता रहे, लेकिन हमें लगा कि उसे उतने मौके नहीं मिले, जितने का वह हकदार था। तमाम उलझनों के बाद हमने मुंबई लौटने का फैसला किया। यह तो मुंबई क्रिकेट असोसिएशन (MCA) का बड़प्पन है कि बोर्ड ने अपने बच्चे को फिर से अपना लिया। मैं एमसीए का तहेदिल से शुक्रिया अदा करता हूं।' आदित्य तरे को भी जाता है ट्रिपल सेंचुरी श्रेयसरफराज की यूपी के खिलाफ लगाई गई यादगार ट्रिपल सेंचुरी के बारे में उन्होंने कहा, 'सरफराज को नहीं पता था कि उसे बैटिंग करने जाना है। दरअसल, उसकी तबीयत ठीक नहीं थी। वह 2-3 दिन से उल्टी और दस्त से जूझ रहा था, इसके अलावा फील्डिंग भी करता रहा था। लेकिन यूपी (625/8) ने बड़ा स्कोर किया था और टीम में सीनियर आदित्य तरे चाहते थे कि कोई बल्लेबाज मैदान रुके और बड़ी पारी खेले। उन्होंने सरफराज को प्रोत्साहित किया और बैटिंग क्रम में ऊपर जाने को कहा। मुझे लगता है कि यह तरे का विश्वास ही था, जिस पर सरफराज खरा उतरना चाहता था। पूरी कोशिश भी की और देखिए रिजल्ट आपके सामने है।' कई मौके पर मिला है विराट का सपॉर्टसरफराज एक वक्त आईपीएल में आरसीबी की टीम का हिस्सा थे और कप्तान विराट कोहली का उन्हें खास सपॉर्ट था। एक मैच में तूफानी बैटिंग के बाद विराट ने सरफराज को कई मौके भी दिए थे। विराट के सपॉर्ट के बारे में पूछे जाने पर नौशाद कहते हैं, 'कोहली से सरफराज लगातार संपर्क में था। उसके अंदर पोटेंशियल है यह बात भारतीय कप्तान परख चुके थे। तभी तो उन्होंने एक सीजन उसे रिटेन भी किया था।' बता दें कि सरफराज खान ने 2016 में सनराइजर्स हैदराबाद के खिलाफ रॉयल चैलेंजर्स बैंगलोर (RCB) के लिए बेहद तेजतर्रार पारी खेली थी। उस मैच में उन्होंने 10 गेंदों पर 35 रन बनाकर खूब वाहवाही लूटी थी। इसकी विराट ने भी खूब तारीफ की थी।

No comments:

Post a Comment