Sunday, July 19, 2020

वर्ल्ड कप पर टिका IPL का भविष्य, फैसला आज July 19, 2020 at 06:43PM

दुबईइंटरनैशनल क्रिकेट काउंसिल (आईसीसी) के बोर्ड की आज होने वाली ऑनलाइन मीटिंग बहुत ही अहम होगी। इसमें इस साल ऑस्ट्रेलिया में होने वाले टी20 वर्ल्ड कप के भविष्य को लेकर निर्णायक दौर की चर्चा होगी। बीसीसीआई को उम्मीद है कि इसे स्थगित किया जाएगा जिससे कि आईपीएल का आयोजन हो सके। टी20 वर्ल्ड कप का आयोजन ऑस्ट्रेलिया में 18 अक्टूबर से 15 नवंबर तक होना है। लेकिन देश के क्रिकेट बोर्ड ने विक्टोरिया राज्य में कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों को देखते हुए मई में ही इस टूर्नमेंट की मेजबानी में असमर्थता जाहिर की थी। सरकार की मंजूरी जरूरीभारत में भी कोरोना वायरस के मामलों में काफी इजाफा हुआ है अगर ऐसे में आईपीएल का आयोजन होता है तो केंद्र सरकार से स्वीकृति मिलने पर इसका आयोजन यूएई में कराया जा सकता है। बीसीसीआई की एपेक्स काउंसिल के एक सदस्य ने बताया, ‘पहला कदम एशिया कप को स्थगित करना था जो हो गया। वर्ल्ड कप पर फैसले के बाद ही हम अपनी योजना पर आगे बढ़ सकते हैं।’ सीए की भी दिलचस्पी नहींइस साल होने वाले टी20 वर्ल्ड कप के ऑस्ट्रेलिया में 2022 में आयोजित किए जाने की संभावना है क्योंकि फिलहाल भारत 2021 टूर्नमेंट की मेजबानी के अपने अधिकार को क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया के साथ नहीं बदलना चाहता। ऑस्ट्रेलिया इस प्रतिष्ठित टूर्नमेंट की मेजबानी नहीं करेगा यह उस समय स्पष्ट हो गया था जब क्रिकेट बोर्ड ने अपने खिलाड़ियों को सितंबर के अंत में इंग्लैंड के खिलाफ होने वाली सीमित ओवरों की सीरीज की तैयारी करने को कहा था। क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया ने उस दौरे के लिए 26 सदस्यीय शुरुआती टीम घोषित भी कर दी है। इंतजार करना नियमों का हिस्साआईसीसी ने हालांकि कहा है कि वह इतना बड़ा फैसला करने से पहले सभी संभावित ‘आपात’ विकल्पों पर विचार करना चाहता है और संचालन संस्था का इतने लंबे समय तक इंतजार करना असामान्य नहीं है। एक सूत्र ने बताया, ‘पाकिस्तान को 2009 में चैंपियंस ट्रोफी की मेजबानी करनी थी। श्रीलंका टीम बस पर आतंकी हमले के बाद सभी को पता था कि पाकिस्तान भविष्य में बड़ी प्रतियोगिता की मेजबानी नहीं कर पाएगा। इसके बावजूद आईसीसी ने अपने कर्मचारियों को महीनों तक पाकिस्तान में रखा जबकि साउथ अफ्रीका पहले ही टूर्नमेंट की मेजबानी की तैयारी कर रहा था। वेन्यू बदलने की औपचारिक घोषणा में महीनों लग गए क्योंकि खतरे का आकलन करना नियमों का हिस्सा है।’

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