Thursday, May 28, 2020

कोरोना: शतरंज की बाजी सजी, बाकी की हालत खराब May 27, 2020 at 11:49PM

चेन्नैऐसे समय में जब कोविड-19 महामारी के चलते दुनिया भर में खेल गतिविधियां ठप्प पड़ी हैं, तो शतरंज एक ऐसा खेल है जो ‘टेक्नालॉजी’ की बदौलत आयोजित हो रहा है और ऑनलाइन टूर्नमेंट ने खिलाड़ियों को व्यस्त रखा हुआ है। कोरोना वायरस के कारण लगे लॉकडाउन के दौरान ऑनलाइन शतरंज टूर्नमेंट की संख्या में बढ़ाोतरी हुइई है। हाल में ऑनलाइन नेशन्स कप के बाद फिडे (विश्व शतरंज महासंघ) अध्यक्ष अर्काडे दवोरकोविच ने कहा कि शतरंज टूर्नमेंट ऑनलाइन खेले जा रहे हैं जिससे इस खेल को मदद मिलेगी। शीर्ष खिलाड़ियों ने नियमित रूप से प्रतियोगिताओं में हिस्सा लिया जबकि उदीयमान खिलाड़ियों के लिए यह अच्छा मौका था। कुछ खिलाड़ियों ने तो कोविड-19 महामारी के खिलाफ लड़ाई के लिए कोष भी इकट्ठा किया। टूर्नमेंट ऑनलाइन मंच (शतरंज डॉट कॉम और लिचेस डॉट ओआरजी) पर आयोजित किए गए। पांच बार के विश्व चैंपियन विश्वनाथन आनंद ने कहा था कि शतरंज ने ऑनलाइन टूर्नमेंट आयोजित कर इस वैश्विक संकट के दौरान काफी अच्छी तरह तालमेल बिठाया है। कई भारतीय ग्रैंडमास्टर खिलाड़ियों ने कहा कि ऑनलाइन टूर्नमेंट ने उन्हें व्यस्त रखा। ग्रैंडमास्टर बी अधिबान और महिला ग्रैंडमास्टर डी हरिका ने कहा कि ऑनलाइन शतरंज लॉकडाउन के दौरान काफी मददगार थे क्योंकि इससे वे खेल से संपर्क में रहने में सफल रहे। अधिबान ने कहा, ‘मुझे ऑनलाइन शतरंज खेलना पसंद है क्योंकि मैं इससे काफी रिलैक्स महसूस करता हूं और आप इसमें काफी तेज हो सकते हो।’ हरिका ने कहा, ‘जब आप लॉकडाउन में हो तो ऐसे समय में यह काफी अच्छा है।’ अंतरराष्ट्रीय मास्टर और शतरंज डॉट कॉम के भारत के निदेशक राकेश कुलकर्णी ने कहा कि ऑनलइान टूर्नमेंट आयोजित करना काफी अलग चुनौती थी क्योंकि इसमें सही मैच सुनिश्चित करने की जरूरत थी। उन्होंने कहा, ‘वेबसाइट/मंच ने तकनीकी पहलुओं का ध्यान रखा। इसलिए जोड़ियों, नतीजों और तालिका में स्थान में कोई चूक नहीं होती। अंपायर की जरूरत भी नहीं होती। लेकिन चुनौती सही मैच सुनिश्चित करने और यह देखने की थी, कोई धोखाधड़ी नहीं हो। नकद पुरस्कार राशि वाले टूर्नमेंट में कम्प्यूटर धोखाधड़ी से बचने के लिए ‘चेकिंग’ करनी पड़ी।’

No comments:

Post a Comment