Saturday, January 18, 2020

जब तक धोनी खेल से रिटायर नहीं हो जाते, टीम की रेस में बने रहेंगे January 18, 2020 at 04:48PM

खेल डेस्क. बीसीसीआई ने पिछले हफ्ते सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट से महेंद्र सिंह धोनी को बाहर दिया। इसे लेकर फैंस और मीडिया बंटा दिखा। इसके बाद अनुमान लगाया जाने लगा कि बीसीसीआई ने अनौपचारिक तौर पर धोनी को संन्यास के लिए कह दिया है। धोनी के फैंस ने कहा कि अगर ऐसा है तो यह धोनी जैसे बड़े खिलाड़ी का अपमान है। लेकिन इसका अधिक महत्व नहीं है। सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट में उसी खिलाड़ी को जगह मिलनी चाहिए, जो टीम में जगह बनाने की रेस में हो।

कॉन्ट्रैक्ट के अपने नियम होते हैं और धोनी इसमें फिट नहीं बैठते। धोनी ने जुलाई में हुए वर्ल्ड कप सेमीफाइनल के बाद एक भी मैच नहीं खेला है। कॉन्ट्रैक्ट पाने के लिए हर खिलाड़ी को न्यूनतम मैच खेलने होते हैं। अगर कोई खिलाड़ी चोट के कारण महीनों बाहर रहता है तो उसे छूट मिलती है। बुमराह और पंड्या के साथ ऐसा ही हुआ।

बगैर नियम खिलाड़ी को कॉन्ट्रैक्ट में जगह देना गलत
अगर बिना नियम के किसी खिलाड़ी को कॉन्ट्रैक्ट में जगह दी जाती है, तो यह गलत है। यह दूसरे खिलाड़ी के साथ अन्याय होगा। सेंट्रल कॉन्ट्रैक्ट में जगह पाने का यह मतलब नहीं है किसी को टीम में जगह मिल जाए। इसका सिर्फ एक मतलब है कि उस खिलाड़ी को शॉर्ट लिस्ट किया गया है। अगर किसी युवा खिलाड़ी का अच्छा प्रदर्शन है तो उसे टीम में जगह मिल सकती है। ऐसा ही सीनियर खिलाड़ियों के साथ है। वे फॉर्म हासिल करके फिर से कॉन्ट्रैक्ट हासिल कर सकते हैं।

जब तक धोनी रिटायर नहीं हो जाते, तब तक वे टीम में जगह बनाने की रेस में बने रहेंगे। धोनी आईपीएल में भी उतरेंगे। उन्होंने झारखंड टीम के साथ ट्रेनिंग भी शुरू कर दी है। वे घरेलू मैच में भी खेलते दिख सकते हैं। इससे उनके साथ-साथ सिलेक्टर्स और मैनेजमेंट को भी यह पता चल सकेगा कि वे इंटरनेशनल क्रिकेट के लिए कितने फिट हैं।

पंत अपनी जगह पक्की नहीं कर सके
धोनी के रिप्लेसमेंट के तौर पर आए ऋषभ पंत अपनी जगह पक्की नहीं कर सके हैं। कोच रवि शास्त्री इस साल होने वाले टी-20 वर्ल्ड कप की टीम को लेकर अभी भी सोच रहे हैं। वे धोनी के अनुभव को अहम मान रहे हैं। इस कारण उनकी टीम में वापसी के दरवाजे अभी बंद नहीं हुए हैं। लेकिन पिछले हफ्ते आॅस्ट्रेलिया के खिलाफ बतौर विकेटकीपर लोकेश राहुल ने बैट से और ग्लव्स से अच्छा प्रदर्शन कर खुद को इस रेस में शामिल कर लिया है। 2004 में धोनी के आने के पहले द्रविड़ भी बतौर विकेटकीपर खेल रहे थे। अगर राहुल यह दोहरी भूमिका निभाने में सफल हुए तो टी-20 वर्ल्ड कप सिलेक्शन में यह अहम साबित होगा। हालांकि टीम को लेकर सस्पेंस आगे भी बना रहेगा।



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महेंद्र सिंह धोनी ने जुलाई 2019 में हुए वर्ल्ड कप सेमीफाइनल के बाद एक भी मैच नहीं खेला है। -फाइल

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